बास्केटबॉल की दुनिया में, जहाँ हर ड्रिबल और हर शॉट उम्मीदों को बदल सकता है, यूरोबास्केट 2025 ने राउंड ऑफ़ 16 में एक ऐसा ही अविश्वसनीय क्षण पेश किया है, जिसने सभी को हैरान कर दिया है। टूर्नामेंट की सबसे मजबूत टीमों में से एक, सर्बिया को फिनलैंड के हाथों अप्रत्याशित हार का सामना करना पड़ा, जिससे टूर्नामेंट का समीकरण पूरी तरह बदल गया है। यह सिर्फ एक मैच नहीं था, बल्कि एक ऐसी कहानी थी जिसमें कमजोर टीम ने दिग्गज को मात दी और साबित कर दिया कि खेल में कुछ भी निश्चित नहीं होता।
मुख्य आकर्षण:
- फिनलैंड ने मार्केनन की शानदार अगुवाई में सर्बिया को हराया।
- तुर्की ने शेंगून के दम पर स्वीडन को शिकस्त दी।
- जर्मनी ने पुर्तगाल को पराजित किया, हालाँकि मैच इतना एकतरफा नहीं था।
- लिथुआनिया ने अपने घरेलू मैदान पर लातविया को बाहर का रास्ता दिखाया।
- इटली का मुकाबला स्लोवेनिया के स्टार लुका डोनसिक से होगा।
सर्बिया का चौंकाने वाला पतन: फिनलैंड की अविश्वसनीय जीत
यूरोबास्केट 2025 के शुरुआती चरण से ही सर्बिया को खिताब का प्रबल दावेदार माना जा रहा था। उनकी टीम में एनबीए के दिग्गज निकोला जोकिक जैसे स्टार खिलाड़ी थे, जिनकी मौजूदगी ही विरोधियों के लिए खौफ पैदा करती थी। लेकिन, फिनलैंड की टीम, जो लाउरी मार्केनन के नेतृत्व में खेल रही थी, ने सारी भविष्यवाणियों को धता बता दिया। मार्केनन ने 29 अंक और 8 रिबाउंड के साथ एक शानदार प्रदर्शन किया, जिसने सर्बियाई रक्षापंक्ति को हिला कर रख दिया।
मैच की शुरुआत से ही फिनलैंड ने अपनी आक्रामक रणनीति का प्रदर्शन किया और सर्बिया पर दबाव बनाना शुरू कर दिया। पहले कुछ मिनटों में ही उन्होंने दोहरे अंकों की बढ़त बना ली, जो उनके आत्मविश्वास को दर्शाता था। हालांकि, सर्बिया के स्टार खिलाड़ी, निकोला जोकिक ने 33 अंकों के साथ अपनी पूरी जान लगा दी, लेकिन फिनलैंड की एकजुट रणनीति और विशेष रूप से एलियास वाल्टोनन के अंतिम क्षणों में शानदार तीन-पॉइंटर्स ने उन्हें जीत से वंचित कर दिया। वाल्टोनन के इन महत्वपूर्ण शॉट्स ने मैच का रुख फिनलैंड की ओर मोड़ दिया और सर्बियाई टीम को वापसी का कोई मौका नहीं मिला। यह बास्केटबॉल की सुंदरता है – कागज़ पर लिखी भविष्यवाणियाँ अक्सर कोर्ट पर आकर धूल चाट लेती हैं। सर्बिया, जो खिताब के प्रबल दावेदारों में से एक थी, अब घर वापस जाने को मजबूर है, शायद यह सोचने के लिए कि आखिर कहाँ चूक हो गई।
अन्य रोमांचक मुकाबले और दिग्गजों का प्रदर्शन
राउंड ऑफ़ 16 में सिर्फ फिनलैंड-सर्बिया मैच ही नहीं, बल्कि कई अन्य मुकाबले भी बेहद रोमांचक रहे:
- तुर्की बनाम स्वीडन (85-79): तुर्की ने पिछले चरण में सर्बिया को हराकर अपनी क्षमता दिखाई थी, लेकिन स्वीडन के खिलाफ उन्हें कड़ी चुनौती मिली। अतामन की टीम ने पहले हाफ में संघर्ष किया, लेकिन तीसरे क्वार्टर में खेल को अपने पक्ष में मोड़ने में सफल रही। खराब शूटिंग के बावजूद, अल्परन शेंगून के 24 अंक, 16 रिबाउंड और 6 असिस्ट ने तुर्की को जीत दिलाई, जो उनकी रक्षात्मक ताकत और रिबाउंडिंग पर निर्भरता को दर्शाता है।
- जर्मनी बनाम पुर्तगाल (85-58): जर्मनी ने पुर्तगाल को बड़े अंतर से हराया, लेकिन यह जीत इतनी आसान नहीं थी जितनी स्कोरलाइन बताती है। पुर्तगाल ने मैच के बड़े हिस्से में बढ़त बनाए रखी, लेकिन अंतिम क्वार्टर में जर्मनी के 33-7 के निर्मम रन ने उनकी सारी उम्मीदें खत्म कर दीं। पुर्तगाल के नीमियस क्वेटा ने 18 अंक और 11 रिबाउंड के साथ शानदार प्रदर्शन किया, लेकिन फ्रांज वैगनर, डेनिस श्रोडर और इसाक बोंगा की जर्मन तिकड़ी के आगे वह नाकाफी साबित हुआ।
- लिथुआनिया बनाम लातविया (88-79): लातविया के लिए यह एक कड़वा अंत था, क्योंकि उन्हें अपने घरेलू मैदान, रीगा में लिथुआनिया के हाथों हार का सामना करना पड़ा। लिथुआनिया ने मैच को शुरू से अंत तक नियंत्रित किया, जिसमें क्रेतिनास वेलिका (21 अंक, 12 असिस्ट) ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। लातविया के लिए केवल क्रिस्टाप्स पोरज़िंगिस (34 अंक) ही संघर्ष करते दिखे, लेकिन उनकी व्यक्तिगत चमक टीम को जीत नहीं दिला सकी।
क्वार्टरफाइनल की राह: आगे क्या?
अब सभी की निगाहें यूरोबास्केट 2025 के क्वार्टरफाइनल पर टिकी हैं, जहाँ और भी बड़े मुकाबले देखने को मिलेंगे। यह टूर्नामेंट अप्रत्याशितता और उच्च-स्तरीय बास्केटबॉल का संगम बन गया है। कल, इटली की टीम स्लोवेनिया का सामना करेगी, जहाँ उन्हें लुका डोनसिक जैसे विश्व-स्तरीय खिलाड़ी की चुनौती का सामना करना पड़ेगा। यह मैच निश्चित रूप से एक रोमांचक प्रदर्शन का वादा करता है, क्योंकि डोनसिक अपनी टीम को अगले दौर में ले जाने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।
यूरोबास्केट 2025 अब एक ऐसे मोड़ पर खड़ा है जहाँ हर मैच एक नई कहानी गढ़ रहा है। पसंदीदा टीमों का गिरना और अंडरडॉग का चमकना इस टूर्नामेंट को और भी दिलचस्प बना रहा है। यह सिर्फ़ अंकों और जीत-हार का खेल नहीं, बल्कि जुनून, रणनीति और अप्रत्याशित नायकों के उभरने का मंच है। अगले कुछ दिन बास्केटबॉल प्रेमियों के लिए किसी पर्व से कम नहीं होंगे। अपनी सीटों पर बने रहें, क्योंकि असली रोमांच अभी बाकी है!