लोदज़ में एटलस एरेना में गूंजती भीड़ की आवाज़, हर अंक पर उत्साह का ज्वार और एक ऐसी जीत का अनुभव जो केवल मैदान पर ही नहीं, बल्कि दिलों में भी दर्ज हो जाए। यह दृश्य था रविवार को, जब पोलैंड की महिला वॉलीबॉल टीम ने वॉलीबॉल नेशंस लीग (VNL) 2025 में कांस्य पदक जीतकर अपने घरेलू प्रशंसकों को खुशी से सराबोर कर दिया। यह सिर्फ एक पदक नहीं था, बल्कि निरंतरता, दृढ़ संकल्प और घरेलू मैदान पर मिली जीत का एक मीठा अहसास था।
एक रोमांचक मुकाबला: जापान पर पोलैंड की शानदार जीत
सेमीफाइनल में ओलंपिक चैंपियन इटली से मिली करारी हार के ठीक एक दिन बाद कोर्ट पर लौटी पोलैंड की टीम का सामना जापान से था। यह मैच उनके लिए सिर्फ पदक जीतने का मौका नहीं था, बल्कि सेमीफाइनल की निराशा को मिटाने और अपनी क्षमता को एक बार फिर साबित करने का अवसर भी था। पोलैंड ने जापान को 3-1 (25-15, 24-26, 25-16, 25-23) से हराकर शानदार वापसी की। यह जीत दर्शाती है कि दबाव में भी यह टीम कैसे बेहतरीन प्रदर्शन कर सकती है, और यह वॉलीबॉल के मैदान में उनकी बढ़ती ताकत का एक और प्रमाण है।
मैच के आंकड़े बताते हैं कि पोलैंड ने कैसे अपनी रणनीति को प्रभावी ढंग से लागू किया। हालांकि दोनों टीमें किल्स (52) और एस (2) में बराबरी पर थीं, लेकिन पोलैंड ने ब्लॉक (15 के मुकाबले 2) में जापान को बुरी तरह पछाड़ा। साथ ही, पोलैंड को अपने विरोधियों से अधिक गलतियों (30 के मुकाबले 24) का भी फायदा मिला, जिसने जीत का मार्ग प्रशस्त किया।
लगातार तीसरी सफलता: एक सुखद `हैट्रिक`
यह लगातार तीसरी बार है जब पोलैंड ने वॉलीबॉल नेशंस लीग में कांस्य पदक हासिल किया है। यह किसी भी टीम के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, और पोलैंड छठी ऐसी राष्ट्रीय टीम बन गई है जिसने VNL के पहले सात संस्करणों में तीन या अधिक पदक जीते हैं। इस विशिष्ट क्लब में ब्राजील (2019, 2021 और 2022 में रजत), इटली (2022 और 2024 में स्वर्ण), संयुक्त राज्य अमेरिका (2018, 2019 और 2021 में स्वर्ण), तुर्की (2023 में स्वर्ण, 2018 में रजत और 2021 में कांस्य) और चीन (2023 में रजत और 2018 व 2019 में कांस्य) जैसी दिग्गज टीमें शामिल हैं। कांस्य पदक की यह हैट्रिक एक सुखद परंपरा बनती जा रही है, जो टीम की निरंतरता तो दर्शाती है, लेकिन शायद कहीं न कहीं स्वर्णिम चमक की एक दबी हुई आकांक्षा को भी जन्म देती है।
खिलाड़ियों और कोच की जुबानी: भावनाओं का संगम
पोलैंड की जीत के बाद, टीम के मुख्य कोच स्टेफानो लावरिनी की खुशी उनके शब्दों में साफ झलक रही थी। उन्होंने कहा,
“लोदज़ में पदक जीतना हमारे लिए शानदार है और अभी बहुत सारी भावनाएं उमड़ रही हैं। जब से मैंने पोलैंड को कोचिंग देना शुरू किया है, हर साल हमने यहां खेला है और माहौल हमेशा शानदार रहा है, ठीक इसी हफ्ते की तरह। मुझे बहुत खुशी है कि हम इस बार अपने प्रशंसकों को एक पदक के साथ धन्यवाद दे पाए।”
टीम की लिबरो अलेक्जेंड्रा स्ज़िग्लोवस्का ने सेमीफाइनल में मिली हार के बाद वापसी करने पर अपनी भावनाओं को व्यक्त किया। उन्होंने कहा,
“हम पिछले मैच में अपनी इच्छानुसार नहीं खेले थे, और यह हमारे लिए बहुत कठिन था, इसलिए हम आज और भी अधिक केंद्रित थे। मुझे सचमुच खुशी है कि किसी तरह, हमने स्थिति को संभाला और जीत हासिल करने में सक्षम रहे। हमने यह अपने प्रशंसकों के लिए भी किया, उनके सामने खेलना अविश्वसनीय है, मैं इसे शब्दों में बयां नहीं कर सकती। हम अब इसका जश्न मनाएंगे, लेकिन हम जानते हैं कि अभी भी बहुत काम करना बाकी है और कई ऐसे क्षेत्र हैं जहां हम सुधार कर सकते हैं।”
ये बयान दर्शाते हैं कि टीम न केवल खेल के तकनीकी पहलुओं पर केंद्रित थी, बल्कि अपने प्रशंसकों के समर्थन और पिछली हार से उबरने के मानसिक दृढ़ संकल्प को भी महत्व देती थी।
मैदान पर चमकते सितारे: व्यक्तिगत प्रदर्शन का विश्लेषण
इस जीत में पोलैंड की कई खिलाड़ियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा। मैग्डालेना स्टिसियाक ने अपने शानदार प्रदर्शन से सबको प्रभावित किया। उन्होंने मैच में सर्वाधिक 18 अंक बनाए, जिसमें 16 किल्स और दो ब्लॉक्स शामिल थे। टीम की कप्तान और मिडिल ब्लॉकर एग्निज़्का कोर्निलुक ने भी शानदार खेल दिखाया, आठ अविश्वसनीय ब्लॉक्स को आठ किल्स के साथ जोड़कर कुल 16 अंक का योगदान दिया। आउटसाइड हिटर मार्टीना ज़िरन्यांस्का और मार्टीना लुकासिक भी दोहरे अंकों में स्कोर करने में सफल रहीं, जिन्होंने क्रमशः 12 और 11 अंक बनाए।
जापान की ओर से, अनुभवी मिडिल ब्लॉकर हारुयो शिमामूरा ने कांस्य पदक मैच में अपनी टीम के लिए सर्वाधिक 15 अंक (13 किल्स, दो ब्लॉक्स) बनाए। टीम की कप्तान और आउटसाइड हिटर मायू इशिकावा 12 अंकों के साथ दूसरे स्थान पर रहीं, उनके सभी अंक किल्स से आए थे।
आगे का रास्ता: विश्व चैम्पियनशिप की तैयारी
वॉलीबॉल नेशंस लीग में अपने शानदार अभियान के बाद, पोलैंड और जापान दोनों टीमें अब आगामी टूर्नामेंटों की तैयारी में जुट जाएंगी। उनकी अगली बड़ी चुनौती 2025 FIVB महिला वॉलीबॉल विश्व चैम्पियनशिप होगी, जो 22 अगस्त से 7 सितंबर तक थाईलैंड में आयोजित की जाएगी। यह VNL में मिली सफलता और अनुभवों को आगे ले जाने का समय है, जहां उन्हें विश्व मंच पर अपनी प्रतिभा को एक बार फिर साबित करना होगा। पोलैंड के लिए यह कांस्य पदक निश्चित रूप से उनके आगामी तैयारियों के लिए एक बड़ा प्रेरणा स्रोत होगा।