एक ऐसा `संकट` जिसकी हर कंपनी कामना करेगी
निन्टेंडो स्विच 2 (Nintendo Switch 2) ने लॉन्च होते ही गेमिंग की दुनिया में तहलका मचा दिया है। मात्र सात हफ्तों में छह मिलियन से अधिक यूनिट्स की बिक्री, और सिर्फ चार दिनों में 3.5 मिलियन यूनिट्स का आंकड़ा पार करना कोई मामूली बात नहीं है। यह आंकड़ें किसी भी कंसोल के लिए अब तक के सबसे तेज़ बिक्री रिकॉर्ड में से एक हैं। यह सफलता इतनी ज़ोरदार है कि निन्टेंडो, जिसने इस डिवाइस को बनाया है, उसे अब `अफसोस` करना पड़ रहा है। जी हाँ, आपने सही सुना, `अफसोस`। कंपनी को खेद है कि कई देशों में इस कंसोल की मांग, आपूर्ति से कहीं ज़्यादा है, और ग्राहक इसे खरीदने के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
रिकॉर्ड-तोड़ सफलता, फिर भी `क्षमा याचना`
जब आपकी सफलता ही आपकी सबसे बड़ी `समस्या` बन जाए, तो निन्टेंडो स्विच 2 का मामला इसका एक आदर्श उदाहरण है। कंपनी ने अपनी वित्तीय रिपोर्ट में बताया कि वे उपभोक्ताओं को हो रही इस असुविधा के लिए खेद व्यक्त करते हैं और आपूर्ति प्रणालियों को मज़बूत करने की दिशा में काम कर रहे हैं। ज़रा सोचिए, एक कंपनी जो अविश्वसनीय बिक्री के रिकॉर्ड बना रही है, उसे अपने ग्राहकों से यह कहना पड़ रहा है कि `हमें खेद है कि आप हमारा उत्पाद नहीं खरीद पा रहे हैं क्योंकि यह इतना लोकप्रिय है।` यह कुछ ऐसा है जैसे किसी मिठाई की दुकान वाला कहे, “माफ करना, हमारी मिठाई इतनी स्वादिष्ट है कि हमने सब बेच दी, अब आपके लिए कुछ नहीं बचा।”
पहले का अनुमान बनाम वास्तविकता
स्विच 2 के लॉन्च से पहले, निन्टेंडो ऑफ अमेरिका के अध्यक्ष डग बॉज़र का मानना था कि अमेरिका में आपूर्ति, मांग को पूरा कर देगी। निन्टेंडो के अध्यक्ष शुंटारो फुरुकावा ने भी मूल्य बिंदु को प्रारंभिक हार्डवेयर बिक्री में एक बड़ा कारक माना था। लेकिन बाज़ार ने कुछ और ही कहानी लिखी। ग्राहक मूल्य नहीं, बल्कि उपलब्धता चाहते हैं, और वे इसे हर कीमत पर चाहते हैं, जब तक कि वह `हर कीमत` बहुत ज़्यादा न हो।
याद कीजिए, माइक्रोसॉफ्ट के एक्सबॉक्स सीरीज़ एक्स (Xbox Series X) और सोनी के पीएस5 (PS5) को लॉन्च के बाद लगभग एक साल तक आपूर्ति संकट का सामना करना पड़ा था। लेकिन उस समय वैश्विक कोविड-19 महामारी का भी असर था, जिसने उत्पादन और शिपिंग को बुरी तरह प्रभावित किया था। स्विच 2 का मामला अलग है, यहाँ मांग पूरी तरह से उपभोक्ताओं के उत्साह से प्रेरित है, न कि किसी बाहरी बाधा से।
मूल्य वृद्धि का `साइड इफेक्ट`
इस बीच, मूल स्विच (Original Switch) कंसोल की कीमतों में अमेरिका में जल्द ही वृद्धि देखने को मिलेगी। हालांकि, स्विच 2 और निन्टेंडो स्विच ऑनलाइन (Nintendo Switch Online) मेंबरशिप पर फिलहाल इसका कोई असर नहीं पड़ेगा। यह एक राहत की बात है, लेकिन कुछ स्विच 2 एक्सेसरीज़ की कीमतें ज़रूर बढ़ सकती हैं। यानी, अगर आप स्विच 2 खरीदने में कामयाब हो जाते हैं, तो उसके साथ के कुछ सामान के लिए आपको अपनी जेब थोड़ी और ढीली करनी पड़ सकती है। यह कुछ ऐसा है जैसे आपको पसंदीदा कार तो मिल जाए, लेकिन उसके टायर महंगे हो जाएं!
निष्कर्ष: एक मीठा दर्द
निन्टेंडो स्विच 2 की कहानी एक `मीठे दर्द` की तरह है। कंपनी के लिए यह सफलता का उत्सव मनाने का समय है, लेकिन साथ ही उन्हें उन लाखों गेमर्स की निराशा को भी समझना होगा जो अभी भी अपने नए कंसोल का इंतज़ार कर रहे हैं। निन्टेंडो का वादा है कि वे उत्पादन बढ़ाएंगे, और उम्मीद है कि जल्द ही हर गेमर को अपना स्विच 2 मिल सकेगा। तब तक, जो लोग इसे खरीदने में कामयाब रहे हैं, वे खेल का आनंद लें, और बाकी लोग थोड़ा और धैर्य रखें। शायद अगली बार निन्टेंडो को ऐसी `अफसोस` वाली खबर न देनी पड़े, बल्कि `खुशी` वाली ख़बर हो कि सबको कंसोल मिल गया!